इस वक्त वैश्विक राजनीति में गर्माहट है। वजह है रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का भारत दौरा. व्लादिमीर पुतिन के भारत दौरे से पाकिस्तान में डर का माहौल पैदा हो गया है. चार साल बाद पुतिन मॉस्को से दिल्ली पहुंचे हैं. भारत का एजेंडा पाकिस्तान को बीमार बना रहा है. इस दौरे के बाद भारत और रूस के रिश्ते और मजबूत होंगे. हालांकि भारत और रूस की दोस्ती दुश्मन देशों खासकर पाकिस्तान को खटक रही है.
पुतिन का भारत दौरा दुश्मन देश के लिए खतरा है
पुतिन की यात्रा के दौरान भारत और रूस के बीच कई डील होने वाली हैं। जिसमें रक्षा सौदे भी शामिल हैं. जो भारत के दुश्मन देश के लिए खतरा है. जिसके चलते पाकिस्तान में नींद हराम हो गई है. पुतिन के दौरे से मुनीर की सेना का मनोबल टूट गया है. ये डर पाकिस्तानी नेताओं और सेना अधिकारियों के साथ-साथ पाकिस्तानी मीडिया और सोशल मीडिया पर भी देखने को मिल रहा है. जिसके चलते वह रूसी राष्ट्रपति पुतिन के लिए बयान दे रहे हैं।
पाकिस्तान में किसने क्या कहा?
वरिष्ठ पत्रकार कमर चीमा ने कहा कि पुतिन 5 दिसंबर को भारत आ रहे हैं. यह एक कूटनीतिक कार्यक्रम है. इस बीच, रूस भारत के साथ अपनी विशेष और विशेषाधिकार प्राप्त रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने की योजना बना रहा है। उनका मुख्य फोकस रक्षा, तेल और हथियारों पर रहेगा. वह एक बड़े विचार के साथ बातचीत करेंगे.
वरिष्ठ पत्रकार मुबाशेर लुकमान ने कहा, भारत एस-500, मिसाइल और एफ-35 पाना चाहता है. भारत के पास मिसाइलों का बड़ा भंडार है. भारत फ्रांस की डेसॉल्ट से 104 राफेल खरीदना चाहता है. वह सारी बातचीत तेजी से कर रही है. क्योंकि जब अफगानिस्तान पाकिस्तान पर हमला करेगा तो भारत दूसरी तरफ से हमला कर सकता है.
पाकिस्तान के एक वरिष्ठ पत्रकार का बयान भी मीडिया पर वायरल हो रहा है. उन्होंने कहा कि रूसी राष्ट्रपति का भारत दौरा अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच जारी तनाव के बीच हो रहा है. आपको ये समझना चाहिए कि पुतिन का भारत दौरा अफगानिस्तान को बढ़ावा दे सकता है. भारत रच सकता है साजिश.
पाकिस्तान में डर का माहौल
पाकिस्तान के लिए रक्षा, तेल और हथियार से भी बड़ी चिंता है. पाकिस्तान को डर है कि मोदी और पुतिन की मुलाकात के दौरान आतंकवाद और पाकिस्तान पर चर्चा होगी, जो उसके लिए बड़ी खबर है. पाकिस्तान अफगानिस्तान और बलूचिस्तान के मुद्दे पर भी चर्चा से डर रहा है. बता दें कि बलूचिस्तान में काफी समय से विद्रोह चल रहा है। इस इलाके में पाकिस्तानी सेना द्वारा भी कई अत्याचार किए जा रहे हैं. ऐसे में अगर पुतिन अफगान तालिबान की मदद करेंगे तो पाकिस्तान चारों तरफ से घिर जाएगा. यही वजह है कि पाकिस्तान में सेना के वरिष्ठ अधिकारी और नेता डरे हुए हैं.
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